टाटा पावर के शानदार तिमाही नतीजों के बाद इसके शेयरों में जबरदस्त खरीदारी देखी जा रही है। गुरुवार के नतीजों के बाद, शुक्रवार को दिवाली मुहूर्त ट्रेडिंग के मौके पर 1 नवंबर को टाटा पावर का शेयर 1% से ज्यादा चढ़कर 448 रुपये तक पहुंच गया। निवेशकों में इसे लेकर खासा उत्साह देखने को मिल रहा है। इस शेयर को लेकर कई मार्केट एक्सपर्ट बुलिश रुख रखते हैं और इसे लंबे समय के लिए निवेश के तौर पर देख रहे हैं।
आइये जानते हैं किस एक्सपर्ट्स ने क्या कहा
टाटा पावर के शानदार प्रदर्शन पर एक्सपर्ट्स की अलग-अलग राय सामने आ रही है। जेएम फाइनेंशियल ने टाटा पावर को 501 रुपये का टारगेट प्राइस देते हुए ‘खरीदें’ रेटिंग दी है। उनके अनुसार, टाटा पावर अगले तीन सालों (2024-2027) में 10% की वार्षिक राजस्व वृद्धि और 15% एबिटा वृद्धि दर हासिल कर सकती है।
वहीं, कोटक इंस्टीट्यूशनल इक्विटीज ने टाटा पावर को ‘सेल’ रेटिंग दी है, और शेयर का टारगेट प्राइस बढ़ाकर 315 रुपये कर दिया है, जो पहले 300 रुपये था। पिछले एक साल में टाटा पावर के शेयरों ने निवेशकों को लगभग 78% का रिटर्न दिया है, जबकि सेंसेक्स में 25% की ही वृद्धि हुई। निवेशकों के लिए यह समझना जरूरी है कि ये अनुमानों पर आधारित सिफारिशें हैं और बाजार के जोखिम को ध्यान में रखते हुए ही निवेश करना चाहिए।
जानिए बड़े निवेश के ऐलान के बारे में
टाटा पावर के निदेशक मंडल ने 1,000 मेगावाट की पंप भंडारण जलविद्युत परियोजना के लिए 5,666 करोड़ रुपये के निवेश को मंजूरी दी है। यह परियोजना भिवपुरी में स्थापित की जाएगी, और इसका लक्ष्य 44 महीने की अवधि में पूरा करना है।
कंपनी ने इस परियोजना के लिए 75% वित्तपोषण कर्ज के माध्यम से और 25% इक्विटी के जरिए जुटाने की योजना बनाई है। मौजूदा समय में, Tata Power की कुल क्षमता 15.2 गीगावाट है। इस नए निवेश के साथ कंपनी का इरादा न केवल अपनी उत्पादन क्षमता बढ़ाना है, बल्कि ऊर्जा के क्षेत्र में स्थिरता और विकास को भी सुनिश्चित करना है।
जानिए क्या हैं कंपनी के तिमाही नतीजे
चालू वित्त वर्ष की सितंबर तिमाही में टाटा पावर ने 1,093.08 करोड़ रुपये का मुनाफा दर्ज किया है, जो कि पिछले साल की समान अवधि की तुलना में लगभग 8% की वृद्धि दर्शाता है। यह वृद्धि मुख्य रूप से कंपनी की आय में सुधार के कारण हुई है, क्योंकि पिछले वित्त वर्ष की इसी तिमाही में टाटा पावर का मुनाफा 1,017 करोड़ रुपये था।
इस तिमाही में टाटा पावर की कुल आय भी बढ़कर 16,210.80 करोड़ रुपये पहुंच गई है, जबकि पिछले साल की जुलाई-सितंबर तिमाही में यह 16,029.54 करोड़ रुपये थी। इन नतीजों से स्पष्ट है कि टाटा पावर ने अपने संचालन को सफलतापूर्वक बढ़ाया है, जिससे निवेशकों का विश्वास और मजबूत हुआ है।